यूपी बोर्ड की हाई स्कूल और इंटरमीडिएट परीक्षा की डेटशीट जारी

उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा परिषद (UPMSP) ने कक्षा 10वीं, 12वीं परीक्षा की डेटशीट जारी कर दी है. यूपी बोर्ड की हाई स्कूल और इंटरमीडिएट बोर्ड परीक्षा लोकसभा चुनाव 2024 से पहले ही होगीं. हाई स्कूल और इंटरमीडिएट की परीक्षाएं एक साथ 22 फरवरी 2024 से शुरू होकर 9 मार्च तक चलेंगी. 22 फरवरी को हिंदी के प्रश्न पत्र से हाईस्कूल और सैन्य विज्ञान के प्रश्न पत्र से इंटरमीडिएट की परीक्षा शुरू होगी.

बता दें कि निर्वाचन आयोग ने भी सभी परीक्षा बोर्ड से शेड्यूल मांगा था, लोकसभा चुनाव के मद्देनजर यूपी बोर्ड ने 9 मार्च तक परीक्षाएं पूरी करने का शेड्यूल जारी किया है. यूपी बोर्ड परीक्षा कार्यक्रम जारी होने से यह उम्मीद जताई जा रही है कि लोकसभा चुनाव की अधिसूचना 9 मार्च के बाद ही जारी होगी. नकल की सख्ती की वजह से यूपी बोर्ड की 10वीं और 12वीं की 2024 की परीक्षा में इस बार 3 लाख 76 हजार 428 परीक्षार्थी घट गए हैं.

यूपी बोर्ड के सचिव दिब्यकांत शुक्ल ने दी जानकारी देते हुए बताया कि साल 2024 की 10वीं और 12वीं की परीक्षा में 55 लाख 8 हजार 206 विद्यार्थियों का पंजीकरण हुआ है. हाईस्कूल में 15 लाख 71 हजार 686 छात्र और 13 लाख 75 हजार 638 छात्राओं को मिलाकर कुल 29 लाख 47 हजार 324 परीक्षार्थियों ने रजिस्ट्रेशन कराया है. जबकि इंटरमीडिएट में 14 लाख 12 हजार 806 छात्र और 11 लाख 48 हजार 76 छात्राओं को मिलाकर कुल 25 लाख 60 हजार 882 परीक्षार्थीयों ने रजिस्ट्रेशन कराया है. जबकि पिछले साल हाईस्कूल और इंटरमीडिएट में कुल 58 लाख 84 हजार 634 परीक्षार्थियों का पंजीकरण हुआ था. 


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भारत और कनाडा के बिगड़े रिश्तों ने सभी का ध्यान अपनी ओर खींचा है

खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर मौत की नींद सो चुका है. मगर उसकी वजह से भारत और कनाडा जैसे दो बड़े मुल्कों के बीच तनाव पैदा हो गया. निज्जर की वजह से तनाव इस कदर बढ़ा कि दोनों देशों ने अपने-अपने यहां मौजूद राजनयिकों को देश छोड़कर जाने को कह दिया. कनाडा में भारतीय उच्चायुक्त संजय कुमार वर्मा ने अब भारत से कनाडा के राजनयिकों को निकाले जाने और कनाडा संग रिश्तों पर बात की है. 

कनाडा के सबसे बड़े निजी टेलीविजन नेटवर्क ‘सीटीवी न्यूज’ को दिए इंटरव्यू में भारतीय उच्चायुक्त ने कनाडा राजनयिकों को नई दिल्ली छोड़कर जाने और दर्जनों अन्य कनाडाई अधिकारियों को दी गई राजनयिक छूट को खत्म किए जाने समेत कई सारे मुद्दों पर जवाब दिया. उन्होंने कहा कि भारत के जरिए कनाडा के राजनयिकों को नई दिल्ली से निकालना 'जवाबी कार्रवाई' थी और ये पूरी तरह से 'भावनात्मक पहलू' पर आधारित था. 

निज्जर की हत्या पर बढ़ा विवाद

दरअसल, कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने सितंबर में भारत पर लगाया कि खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में भारतीय एजेंट्स का हाथ है. निज्जर की इस साल जून में ब्रिटिश कोलंबिया प्रांत के एक गुरुद्वारे के बाहर गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. कनाडा के आरोपों को भारत ने बेतुका और राजनीति से प्रेरित बताया. इसके बाद दोनों देशों ने अपने-अपने यहां मौजूद राजनयिकों को देश छोड़कर जाने को कह दिया. 

भारतीय उच्चायुक्त ने क्या कहा?

वहीं, भारतीय उच्चायुक्त संजय कुमार वर्मा ने कहा कि भारत-कनाडा के बीच रिश्ते दो महीने पहले जैसे थे, उसके मुकाबले अब ज्यादा बेहतर हैं. इसके बाद उन्होंने कहा कि कनाडा के राजनयिकों को नई दिल्ली से निकालने के भारत के फैसले में भावनात्मक पहलू शामिल थे. 

हालांकि, भारतीय उच्चायुक्त ने कहा कि अक्टूबर में दर्जनों अन्य कनाडाई राजनयिकों से राजनयिक छूट छीनने का कदम काफी हद तक समानता दिखाने के लिए था. उन्होंने कहा कि भारत ने ये सुनिश्चित करने के लिए कदम उठाया कि कनाडा में जितने भारतीय राजनयिक तैनात थे, उतनी ही संख्या में कनाडाई राजनयिक भी भारत में रह सकें.


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12वीं पास को स्कूटी, KG से PG तक शिक्षा फ्री

बीजेपी ने राजस्थान के लिए संकल्प पत्र जारी कर दिया है. जेपी नड्डा ने ये पत्र जारी करते हुए कहा कि अब राज्य में महिलाओं और किसानों को अपमानित नहीं होने दिया जाएगा.

भारतीय जनता पार्टी के प्रमुख जगत प्रकाश नड्डा ने राजस्थान विधानसभा चुनाव के लिए पार्टी का संकल्प पत्र जारी कर दिया है. बीजेपी ने घोषणापत्र को विकास का रोडमैप बताया है. बीजेपी का संकल्प पत्र जारी करते हुए नड्डा ने कहा कि उनकी पार्टी राज्य में सबका साथ और सबका विकास करेगी. गांव ,गरीब ,किसान , महिला, युवा ,अनुसुचित जाति, अनूसुचित जनजाति को मजबूत किया जाएगा. उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी के लिए संकल्प पत्र एक विजन है. नड्डा ने राजस्थान के लिए अपने विजन का जिक्र करते हुए केंद्र की राजस्थान केंद्रित योजनाओं का भी जिक्र किया. उन्होंने कहा कि राजस्थान को पिछले 9 साल में 23 मेडिकल कॉलेज दिए गए हैं.

BJP के घोषणा पत्र में क्या क्या?

महिलाओं को केजी से पीजी तक मुफ्त शिक्षा दी जाएगी

मातृ वंदन की रकम बढ़ाई जाएगी. इसे 4 हजार से बढ़ाकर 8 हजार किया जाएगा

एम्स और आईआईटी की तर्ज पर हर डिविजन पर राजस्थान इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी और मेडिकल कॉलेज खोले जाएंगे

एसआईटी करेगी पेपर लीक की जांच

गेंहू की उपज को प्रति क्विंटल 2,700 रुपये में खरीदा जाएगा और एमएसपी के ऊपर बोनस दिया जाएगा.

बेटी के जन्म पर दो लाख का सेर्विंग बॉन्ड दिया जाएगा

कांग्रेस सरकार में नीलाम हुई किसानों की जमीन का उचित मुआवजा देने के लिए एक मुआवजा नीति बनाई जाएगी

हर जिले में महिला थाना और हर पुलिस स्टेशन में महिला डेस्क और सभी प्रमुख शहरों में एंटी रोमियो स्क्वॉड का गठन करेंगे

लखपति दीदी योजना के अंतर्गत 6 लाख से ज्यादा ग्रामीण महिलाओं को कौशल प्रशिक्षण दिया जाएगा

पीएम उज्जवला योजना के तहत सभी गरीब परिवारों की महिलाओं को 450 रुपए में सिलेंडर प्रदान किया जाएगा

आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों के छात्रों को यूनिफॉर्म आदि के लिए 1200 रुपए की वार्षिक सहायता प्रदान की जाएगी

टूरिज्म की दृष्टि से टूरिज्म को बढ़ावा देने के लिए पर्यटन कौशल कोर्स बनाकर पांच लाख युवाओं को प्रशिक्षित कर और इसी के साथ-साथ रोजगार और स्वरोजगार के अवसर प्रदान करेंगे

प्रदेश में अगले 5 साल में ढाई लाख बेरोजगारों को नौकरी दी जाएगी

नड्डा ने कांग्रेस पर बोला हमला?

बीजेपी का संकल्प पत्र जारी करते हुए जेपी नड्डा ने मौजूदा अशोक गहलोत सरकार पर जमकर हमला किया. उन्होंने कहा कि गहलोत सरकार के दौरान महिलाओं का अपमान और किसानों का तिरस्कार किया गया है, जो कि बीजेपी की सरकार में नहीं होगा. नड्डा ने कहा कि राजस्थान में सिर तन से जुदा करने वाले रैली करते हैं. राज्य के इस तरह के माहौल को बदला जाएगा. उन्होंने कहा कि जो हम लोग कहते हैं, वह करके देते हैं.



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ज्योति मौर्य केस में होमगार्ड कमांडेंट मनीष दुबे सस्पेंड

 उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के बहुचर्चित एसडीएम ज्योति मौर्य केस (Jyoti Maurya Case) में विवादों में आए होमगार्ड कमांडेंट मनीष दुबे पर कार्रवाई हुई है. विभाग ने मनीष दुबे को सस्पेंड कर दिया है. बरेली में ज्योति मौर्य के पति आलोक मौर्य ने मनीष दुबे पर कई संगीन आरोप लगाए थे. आलोक के आरोप के बाद जमकर हंगामा हुआ था. जिसके बाद मनीष दुबे के खिलाफ जांच बैठा दी गई थी.

महिला PCS से अवैध संबंध के आरोप   

होमगार्ड कमांडेंट मनीष दुबे के विरुद्ध बीते दिनों जांच रिपोर्ट शासन को सौंपी गई थी. महिला पीसीएस अधिकारी ज्योति मौर्य के पति आलोक मौर्य ने मनीष दुबे पर अपनी पत्नी के साथ अवैध संबंध का आरोप लगाया था. महिला अधिकारी से करीबी रिश्तों व उसके पति की हत्या के षड्यंत्र समेत अन्य तथ्यों की जांच की गई थी. डीआईजी होमगार्ड, प्रयागराज रेंज की रिपोर्ट में दोषी पाए गए कमांडेंट के विरुद्ध निलंबन व विभागीय कार्यवाही की संस्तुति की थी.

जांच के बाद नपे मनीष दुबे 

आलोक मौर्य के आरोपों के बाद डीआईजी होमगार्ड प्रयागराज ने इस मामले की जांच की थी. डीआईजी की जांच रिपोर्ट के बाद डीजी होमगार्ड ने मनीष दुबे को सस्पेंड करने की सिफारिश की थी. जिसके बाद जेल एवं होमगार्ड मंत्री धर्मवीर प्रजापति ने बीते सप्ताह मनीष दुबे को सस्पेंड कर विभागीय कार्रवाई करने के आदेश दिए थे. मंत्री के आदेश के बाद महोबा के होमगार्ड कमांडेंट मनीष दुबे को सस्पेंड किया गया साथ ही विभागीय जांच के भी आदेश दिए गए.

वर्ष 2010 में हुई थी शादी

ज्योति मौर्य और आलोक मौर्य के बीच विवाद का लगातार सुर्खियों में रहा है. आलोक मौर्य और ज्योति मौर्य की साल 2010 में शादी हुई थी. बाद में 2015 में यूपीपीएससी में एसडीएम के पद पर ज्योति मौर्य का चयन हो गया. ज्योति मौर्य ने एसडीएम के पद पर 16वीं रैंक हासिल की थी. वो इन दिनों बरेली में चीनी मिल में जीएम के पद पर तैनात हैं. जबकि पति आलोक कुमार मौर्य ग्राम पंचायत विभाग में प्रतापगढ़ जिले में चपरासी के पद पर कार्यरत हैं.




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'बच्चे के पैरेंट्स की पंसद के स्कूल में एडमिशन करवाए UP सरकार'

 मुजफ्फनगर में सामने इस घटना को लेकर काफी विवाद हुआ था. इस मामले में हिंदू-मुस्लिम एंगल को लेकर भी बात की गई थी.

उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर के स्कूल में एक बच्चे को दूसरे बच्चों से थप्पड़ मारने के मामले में सोमवार (6 नवंबर) को सुनवाई हुई. इस दौरान सुप्रीम कोर्ट ने यूपी सरकार से कहा कि वह बच्चे के पैरेंट्स की पंसद के स्कूल में उसका एडमिशन करवाए. इस मामले पर अगली सुनवाई अब शुक्रवार को होगी. मुजफ्फनगर में एक मुस्लिम छात्र को कुछ छात्राओं से थप्पड़ मरवाने का एक वीडियो सामने आया था, जिसे लेकर काफी बवाल मचा था. 

सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर कर थप्पड़ कांड की सही तरीके से जांच की मांग की गई. शहर के एक प्राइवेट स्कूल में एक महिला टीचर का वीडियो वायरल हुआ था, जिसमें उसे छात्रों से एक मुस्लिम छात्र को थप्पड़ मारने के लिए कहते हुए देखा जा सकता है. ये घटना अगस्त के महीने में सामने आई थी. इस वीडियो के बाद काफी बवाल मचा था. हालांकि, आरोपी टीचर का कहना था कि उसका ऐसा कोई इरादा नहीं था. इस मामले को हिंदू-मुस्लिम एंगल से भी जोड़कर देखा गया.

सुनवाई के दौरान क्या हुआ? 

शीर्ष अदालत में सुनवाई के दौरान यूपी सरकार से पूछा गया कि क्या बच्चे को किसी स्कूल में पढ़ने के लिए दाखिला करवाया गया है? इसके जवाब में यूपी सरकार की तरफ से एडिशनल सॉलिसिटर जनरल ने कहा कि बच्चे के पिता ने सीबीएसई स्कूल में दाखिले की मांग की है. हमने इसके लिए एक कमिटी का गठन किया है. ये मामला सीबीएसी बोर्ड में दाखिले का है. राज्य बोर्ड के स्कूल में दाखिला तुरंत हो सकता है, लेकिन परिवार निजी CBSE स्कूल में एडमिशन चाहता है. 

अदालत ने पीड़ित बच्चे की ओर से पेश हुए वकील से पूछा कि आप कहां दाखिला करवाना चाहते हैं? इस पर वकील ने कहा कि इस इलाके में कई अच्छे स्कूल हैं. अगर सरकार मदद करती है, तो एडमिशन मिल जाएगा. यहां ईडब्ल्यूएस सीटें भी हैं. इसके जवाब में यूपी सरकार ने कहा कि हमने कमेटी बना ली है. प्राइवेट स्कूल का मामला है. फिर अदालत ने कहा कि अगर सरकार प्राइवेट स्कूल से गुजारिश करती है, तो वे मना क्यों करेंगे. आपको इसके लिए कमेटी की क्यों जरूरत पड़ी?

यूपी सरकार ने कहा कि हम दाखिले के लिए कोशिश कर रहे हैं. अदालत ने इसके जवाब में पूछा कि आपको कमेटी बनाने की जरूरत क्यों है. वह इस मामले में क्या करेगी. फिर यूपी सरकार ने कहा कि हम जरूरी निर्देश जारी करेंगे. सुप्रीम कोर्ट ने आगे सुनवाई करते हुए कहा कि किसी वरिष्ठ सरकारी अधिकारी को स्कूल में भेजिए. काम हो जाएगा. हमें नहीं लगता है कि कोई स्कूल नहीं कहेगा. उन्होंने यूपी सरकार से पूछा कि आप हमारा आदेश चाहते हैं या फिर हो जाएगा. इस पर यूपी सरकार ने कहा कि हम एडमिशन करवाएंगे. 


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राजस्थान में गहलोत या वसुंधरा, MP में शिवराज या कमलनाथ? सर्वे में 5 राज्यों की जनता ने बताया कौन है CM के तौर पर पहली पसंद

 5 राज्यों में फाइनल ओपिनियन पोल किया है. इस सर्वे में करीब 63 हजार लोगों से बात की गई है. सर्वे में मार्जिन ऑफ एरर प्लस माइनस 3 से प्लस माइनस 5 फीसदी है.

मध्य प्रदेश की 42 फीसदी जनता कमलनाथ को मुख्यमंत्री के रूप में देखना चाहती है. इस मामले में सीएम शिवराज सिंह चौहान (38 फीसदी) दूसरे नंबर पर हैं. सर्वे के अनुसार राज्य में कांग्रेस को बहुमत मिल सकता है.

सर्वे की मानें तो राजस्थान के सबसे ज्यादा 41 फीसदी लोग अशोक गहलोत को मुख्यमंत्री के तौर पर देखना चाहते हैं. वहीं बीजपी की वसुंधरा राजे दूसरे नंबर पर हैं, जिन्हें 25 फीसदी लोग सीएम के रूप में देखना पसंद करते हैं. हालांकि, सर्वे के अनुसार राज्य में बीजेपी को बहुमत मिलता दिखाई दे रही है.

 छत्तीसगढ़ में 46 फीसदी जनता भूपेश बघेल को मुख्यमंत्री के रूप में देखना चाहती है. वहीं, दूसरे नंबर पर रमन सिंह हैं, जिन्हें राज्य के 21 फीसदी लोग सीएम के तौर पर देखना चाहते हैं.

तेलंगाना में सीएम की पहली पसंद हैं. 37 फीसदी लोग चाहते हैं कि केसीआर तीसरी बार सीएम बनें. वहीं 31 फीसदी लोग चाहते हैं कि रेवंत रेड्डी सीएम बनें. सर्वे के मुताबिक,बीआरएस को बहुमत का आंकड़ा मिलता दिख रहा है.

मिजोरम में अभी मिजो नेशनल फ्रंट पार्टी के जोरामथंगा मुख्यमंत्री हैं. सीवोटर के सर्वे में उनकी ही पार्टी को बहुमत मिला. ऐसे में यह उम्मीद जताई जा रही है कि जोरामथंगा ही राज्य के मुख्यमंत्री होंगे.


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रोज जहरीली हो रही दिल्ली की हवा, AQI 500 पार

दिल्ली की हवा लगातार जहरीली होती जा रही है। शनिवार को भी हवा का स्तर ‘गंभीर’ कैटेगरी में बना हुआ है। शनिवार सुबह दिल्ली में ओवरऑल एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) 504 रहा। वहीं, इंदिरा गांधी इंटरनेशनल एयर पोर्ट में 571, धीरपुर में 542, नोएडा में 576 और गुरुग्राम में 512 AQI दर्ज किया गया।

इधर, बढ़ते प्रदूषण और खराब होती हवा को लेकर ने नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (NGT) ने शुक्रवार को प्रभावित राज्यों के चीफ सेक्रेटरी से जवाब मांगा और तुरंत ही एक्शन लेने को कहा। साथ ही आदेश दिया कि जो कदम उठाए, उसकी रिपोर्ट NGT को दी जाए।

हाईकोर्ट बोला- दिल्ली की मौजूदा हालत के लिए वन विभाग जिम्मेदार

इस बीच दिल्ली की मौजूदा हालत के लिए दिल्ली हाईकोर्ट ने वन विभाग को जिम्मेदार बताया है। हालांकि ये मामला पेड़ों की कटाई से जुड़ा है। दिल्ली हाईकोर्ट में शुक्रवार को पेड़ों की कटाई से जुड़ी याचिका की सुनवाई करते हुए जस्टिस जसमीत सिंह ने दिल्ली वन विभाग को लताड़ लगाई। जस्टिस जसमीत ने वन विभाग से पूछा कि क्या आप चाहते है कि दिल्ली के लोग गैस चेंबर में रहें?

जस्टिस ने कहा कि हम आपको सेंसटिव बनाने की कोशिश कर रहे हैं और आप समझ नहीं रहे हैं। आपका ऐसे कन्नी काटना, अदालत के आदेशों की अवमानना है। दिल्ली के लोग आज जिस स्थिति में हैं, उसके लिए आप जिम्मेदार हैं।

दरअसल, अप्रैल 2022 में दिल्ली वन विभाग ने पेड़ों की कटाई के लिए आदेश जारी किया था। इसके खिलाफ एक्टिविस्ट भवरीन कंधारी ने दिल्ली हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। इस मामले की अगली सुनवाई 8 नवंबर को होगी।

दिल्ली में GRAP-3 लागू, गैर-जरूरी निर्माण-तोड़फोड़ पर रोक, स्कूल बंद

हवा की क्वालिटी खराब होने पर कमीशन फॉर एयर क्वॉलिटी मैनेजमेंट (CAQM) ने 3 नवंबर को दिल्ली-NCR में ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (GRAP) के थर्ड स्टेज को लागू कर दिया। GRAP का स्टेज III तब लागू किया जाता है जब AQI 401-450 की सीमा में गंभीर हो जाता है।

इसके चलते गैर-जरूरी निर्माण-तोड़फोड़ और रेस्टोरेंट में कोयले के इस्तेमाल पर रोक लगा दी गई है। BS-3 पेट्रोल और BS-4 डीजल चार पहिया वाहनों के इस्तेमाल पर सरकार ने 20 हजार रुपए चालान काटने का निर्देश दिया है।

CM अरविंद केजरीवाल ने पांचवीं क्लास तक के सभी सरकारी और प्राइवेट स्कूलों को शुक्रवार और शनिवार के लिए बंद करने का आदेश दिया। दिल्ली में प्रदूषण पर अपोलो हॉस्पिटल के डॉ. निखिल मोदी ने लोगों को मास्क पहनने की सलाह दी है।

वैज्ञानिक बोले- और खराब होगी दिल्ली की हवा

वैज्ञानिकों ने बढ़ते पॉल्यूशन को लेकर चिंता जताई है। उनके मुताबिक आने वाले दिनों में दिल्ली की हवा और खराब हो सकती है। साथ ही वैज्ञानिकों ने बारिश का कम होना प्रदूषण के बढ़ने की बड़ी वजह बताई। इस साल अक्टूबर में सिर्फ एक दिन 5.4 मिमी बारिश हुई। जबकि अक्टूबर 2022 में 6 दिन 129 मिमी और अक्टूबर 2021 में 7 दिन 123 मिमी बारिश हुई थी।

दिल्ली की खराब हवा की एक और वजह है....हरियाणा-पंजाब में पराली जलना

दिल्ली के आसपास के राज्यों में पराली जलाने को भी प्रदूषण बढ़ने का एक मुख्य कारण माना जा रहा है। हरियाणा, पंजाब समेत देश के उत्तरी हिस्सों में पराली जलाना अभी भी जारी है। इस साल अब तक 2500 से ज्यादा पराली जलाने के मामले सामने आ चुके हैं। हालांकि खेत में आग लगने की संख्या पिछले दो सालों की तुलना में कम है।

जयपुर-जोधपुर और बीकानेर की हवा में घुला जहर!:पॉल्यूशन वाले घने कोहरे से स्किन और आंखों में जलनजयपुर, जोधपुर और बीकानेर में बादल छाने के बाद शनिवार को पॉल्यूशन लेवल बढ़ गया है। वेस्टर्न डिस्टरबेंस के कारण बादल छाए हैं। साथ ही गंगानगर और हनुमानगढ़ में एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) का लेवल 400 के ऊपर चला गया है। इस कारण अस्थमा मरीजों की परेशानी बढ़ी गई है। लोगों को आंखों और स्किन पर जलन का एहसास हो रहा है। 


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मॉल की निर्माणाधीन बिल्डिंग सील

उपभोक्ता जनघोष:   नोएडा अथोरिटी ने  नोएडा 104 स्टर्लिंग मॉल के बराबर में बन रही बिल्डिंग को सील कर दिया है आपको बता दें कि उपभोक्ता जनघोष ने खबर को प्रमुखता से प्रकाशित किया था जिसमें अवैध निर्माण का हवाला दिया था। प्राधिकरण के अधिकारीयों के मुताबिक कोई अनुमति या मानचित्र स्वीकृत नही कराया गया था।  

सवाल प्राधिकरण के सम्बंधित अधिकारीयों के चरित्र पर भी उठता है यदि कोई अनुमति या भू-उपयोग परिवर्तन एवं प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड से भी कोई अनुमति नही है तो बिना अधिकारीयों की मिली-भगत से दो मंजिला ईमारत कैसे बन गई है। 

देखना यह है उक्त अवैध निर्माण को ध्वस्तीकरण की कर्यवाही कब तक की जाएगी।


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IIT-BHU में छात्रा के साथ छेड़छाड़ के मुद्दे पर बोलीं प्रियंका गांधी

Varanasi में काशी हिन्दू विश्वविद्यालय के परिसर में संचालित IIT-BHU में छात्रा के साथ कथित छेड़छाड़ के मामले में Priyanka Gandhi Vadra ने टिप्पणी की है.

 उत्तर प्रदेश स्थित वाराणसी में काशी हिन्दू विश्वविद्यालय के परिसर में संचालित आईआईटी बीएचयू की छात्रा के साथ कथित छेड़छाड़ के मामले पर एक ओर जहां छात्र आंदोलित हैं तो वहीं अब कांग्रेस की महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने राज्य सरकार पर सवाल उठाए हैं. 

उन्होंने सोशल मीडिया साइट एक्स पर एक पोस्ट में कई सवाल किए. कांग्रेस नेता ने लिखा-  बनारस में IIT, BHU की एक छात्रा पर यौन आक्रमण हुआ है. कुछ देर पहले, विश्वविद्यालय-परिसर में, उस छात्रा के साथ ज़ोर-ज़बर्दस्ती और दिल दहला देने वाली हिंसा की गयी है. निर्लज्ज हमलावरों ने घटना का वीडियो भी बना लिया है. घटना के विरुद्ध आईआईटी के छात्र प्रदर्शन कर रहे हैं.

प्रियंका गांधी ने लिखा- क्या अब बीएचयू-परिसर और IIT जैसे शीर्ष संस्थान भी सुरक्षित नहीं हैं? प्रधानमंत्री जी के निर्वाचन-क्षेत्र में एक छात्रा का अपने ही शिक्षण-संस्थान के भीतर निर्भय होकर पैदल चलना क्या अब संभव नहीं रहा? धिक्कार है.

छात्रों ने की ये मांगे

उधर, छात्रों के एक समूह ने बीएचयू प्रशासन से कुछ मांगे की है. उनका कहना है कि हमारी मांगें सामन्य हैं. बीएचयू के छात्रों ने मांग की है कि देर रात में बाहरी लोगों की गाड़ियां और उन्हें एंट्री न दी जाए. पूरे कैंपस में सेंट्रलाइज्ड सीसीटीवी सिस्टम लगाया जाए. इसके अलावा सीसीटीवी इंफ्रा को और बढ़ाया जाए. छात्रों की मांग है कि हालिया घटनाओं पर तत्काल प्रभाव से कानूनी एक्शन लिया जाए.

छात्रों के समूह द्वारा जारी किए गए मांग पत्र में दावा किया गया है कि आईआईटी बीएचयू की छात्रा के कपड़े फटे हुए थे और बाहरी लोगों ने उन्हें बंदूक के दम पर रोक कर रखा.छात्रों का दावा है कि सभी आरोपी हैदराबाद गेट से फरार हो गए.

छात्रों के समूह ने कहा है कि वह 2 नवंबर 2023 की सुबह 10 बजे से आईआईटी बीएचयू के निदेशक के दफ्तर के बाहर आंदोलित हैं. मांगें न माने जाने तक हम आंदोलित रहेंगे.


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दिल्ली में OBC पर BJP का 'महामंथन'

दिल्ली में जल्द ही एमसीडी के चुनाव होने वाले हैं। आम आदमी पार्टी और भारतीय जनता पार्टी दोनों ही जीतने के लिए एड़ी-चोटी का जोर लगा रही हैं। इस बीच खबर है कि बीजेपी एमसीडी चुनाव के लिए यूपी मॉडल को अपना सकती है। इसका मतलब पार्टी ओबीसी और अनुसूचित जाति वर्ग को साधने का प्रयास कर रही है।. एमसीडी चुनाव को ध्यान में रखकर बीजेपी अपने सियासी व जातीय समीकरण को दुरुस्त करने में जुट गई है। जिस तरह से बीजेपी ने उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में पिछड़ों को एकजुट करने का फैसला किया था, कुछ उसी मॉडल पर दिल्ली में भी पार्टी ओबीसी और अनुसूचित जाति वर्ग को जोड़ने के लिए मुहिम चलाने जा रही है। पार्टी की नजर दिल्ली में भी ओबीसी और व एससी मतदाताओं पर हैं। इस संबंध में दिल्ली बीजेपी के प्रदेश महामंत्री कुलजीत सिंह चहल ने सोमवार को ओबीसी व एससी वर्ग के कार्यक्रमों का ब्यौरा भी दिया।

दिल्ली में ओबीसी और एससी वर्ग को जोड़ने के लिए बीजेपी ने इस मुद्दे पर भी दिल्ली सरकार को घेरना शुरू कर दिया है। प्रदेश महामंत्री चहल के अनुसार, दिल्ली में आप सरकार को सात साल से अधिक वक्त हो चुका है। लेकिन, सरकार ने दिल्ली के ओबीसी व अनुसूचित जाति वर्ग के लोगों के कल्याण के लिए कोई भी काम नहीं किया। उनका आरोप था कि अनुसूचित जाति वर्ग के कल्याण के लिए जितने फंड आवंटित हैं, उस फंड का भी दिल्ली सरकार ने पूरा इस्तेमाल नहीं किया। लेकिन, केंद्र सरकार ने इस वर्ग के लोगों के कल्याण के लिए कई ऐसे काम किए हैं, जिसका सीधा लाभ उन्हें मिल रहा है, चाहे वह दीनदयाल अंत्योदय योजना हो या फिर कोई और योजना। इन सभी योजनाओं का लाभ दोनों वर्गों के लोगों को मिल रहा है।

दिल्ली में रहने वाले ओबीसी व एसीसी वर्ग के वोटरों को लुभाने के लिए बीजेपी इन दोनों वर्गों के नामचीन समाजिक कार्यकर्ताओं और बड़े नेताओं से संपर्क साधा है। चहल का कहना है कि आने वाले दिनों में इन दोनों वर्गों के कई बड़े नेता व सामाजिक कार्यकर्ता पार्टी जॉइन करने वाले हैं। केंद्र सरकार ने ओबीसी और एससी वर्ग के लिए जो कल्याणकारी योजनाएं लागू की है, उसके बारे में बारे वॉर्ड लेवल पर हर गली-मोहल्ले में इससे लोगों को अवगत कराया जाएगा। इसके लिए मंगलवार से प्रत्येक वॉर्ड में एक मुहिम व कार्यक्रम भी चलाया जाएगा।

पार्टी सूत्रों के अनुसार दिल्ली में जितने वोटर्स हैं, उसका करीब 30 प्रतिशत ओबीसी वोटर्स हैं। करीब 16-17 प्रतिशत अनुसूचित जाति वर्ग के वोटर्स हैं। इन दोनो वर्ग के वोटर्स ही कुल वोटरों के लगभग आधे हैं। इसके अलावा पार्टी का अपना कोर वोटर्स भी हैं। अगर इन दोनों वर्ग के वोटरों को किसी तरह से पार्टी जोड़ने में सफल होती है, तो एमसीडी चुनाव में फतह तय है। यही कारण है कि दिल्ली बीजेपी ने इन दोनों वर्गों के लिए अलग व विशेष कार्यक्रम बनाया है।


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